Budget 2024: बजट से जुड़ी ये वो बातें हैं जिन्‍हें हर कोई नहीं जानता, क्‍या आप जानते हैं? 

भारत के इतिहास में ऐसे भी वित्‍त मंत्री रहे जिन्‍होंने बजट पेश नहीं किया. ऐसा इसलिए हुआ क्‍योंकि वो अपने पद पर कुछ ही दिनों के लिए रहे. 

Last Modified:
Thursday, 04 January, 2024
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जब भी बजट नजदीक आता है तो देश में हर तबके की उम्‍मीदें जग जाती हैं. उम्‍मीद जगे भी क्‍यों ना यही वो मौका होता है जब वित्‍त मंत्री सभी के वेलफेयर की स्‍कीम की घोषणा करती है. लेकिन क्‍या आप जानते हैं कि 7 दशक से भी लंबे समय से चले आ रहे बजट के इतिहास से जुड़ी कई ऐसी बातें हैं जो बेहद दिलचस्‍प हैं. इन बातों को कुछ ही लोग जानते हैं. आज हम आपको इन्‍हीं दिलचस्‍प बातों के बारे में विस्‍तार से बता रहे हैं. 

7 अप्रैल 1860 को पेश हुआ था पहला बजट 
बजट की परंपरा भारत के आजाद होने के बाद से नहीं आई बल्कि ये अंग्रेजों के समय से चली आ रही व्‍यवस्‍था है. भारत में जब अंग्रेजों का शासन था उस समय से ही बजट पेश किया जा रहा है. भारत में सबसे पहला बजट जेम्‍स विलियम्‍स ने पेश किया था. अगर भारत को छोड़ दें तो दुनिया में सबसे पहले बजट ब्रिटेन में पेश किया गया था. 

आजादी के बाद बजट किसने पेश किया? 
भारत में पहला बजट 1860 में पढ़े जाने के बाद आजाद भारत का पहला बजट जिस भारतीय ने पढ़ा उनका नाम था आर के षण्‍मुखम चेट्टी . चेट्टी एक वकील, राजनेता और जाने-माने अर्थशास्‍त्री थे. आजादी के बाद भारत का पहला बजट 26 नवंबर 1947 में पढ़ा गया. 15 अगस्‍त को आजाद होने के बाद देश का पहला बजट आने में तीन महीने का समय लग गया था. 

वो तीन मौके जब प्रधानमंत्री ने पेश किया बजट 
आजादी के बाद से हमेशा ही बजट को वित्‍त मंत्री पेश करते रहे हैं. लेकिन देश के इतिहास में तीन मौके ऐसे भी आए हैं जब वित्‍त मंत्री की जगह पीएम को बजट पेश करना पड़ा. इनमें सबसे पहला मौका जवाहरलाल नेहरू के समय आया जब उन्‍होंने खुद संसद में बजट में पेश किया. उन्‍होंने 13 फरवरी 1958 को फाइनेंस मंत्रालय संभाला और देश का बजट पेश किया. इसी तरह से इस क्रम में दूसरी नेता गांधी परिवार की ही इंदिरा गांधी और तीसरे राजीव गांधी रहे जिन्‍होंने बजट पेश किया. 

सबसे कम कार्यकाल वाले वित्‍त मंत्री 
भारत के इतिहास में एक ऐसे वित्‍त मंत्री भी हैं जो इस पद पर नियुक्‍त तो हुए लेकिन बजट पेश नहीं कर सके. ऐसे वित्‍त मंत्री का नाम है के सी नियोगी. केसी नियोगी 1948 में सिर्फ 35 दिनों तक ही वित्‍त मंत्री के कार्यकाल पर रहे. 1950 में भारतीय गणतंत्र की स्‍थापना के बाद 28 फरवरी 1950 को जॉन मथाई ने पहला बजट पेश किया था.

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इटली के राजदूत ने ली भारत से विदाई, दिल्ली में हुई फेयरवेल पार्टी 

टाइटस एंड कंपनी एडवोकेट्स और इंडो-इटैलियन चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री की तरफ से दिल्ली में इटली के राजदूत के सम्मान में समारोह आयोजित किया गया.

Last Modified:
Saturday, 01 June, 2024
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इटली के राजदूत विन्सेन्ज़ो डी लुका (H.E. Vincenzo de Luca) के लिए दिल्ली स्थित ITC मौर्या के कमल महल होटल में फेयरवेल पार्टी आयोजित की गई. टाइटस एंड कंपनी एडवोकेट्स और इंडो-इटैलियन चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (आईआईसीसीआई) की तरफ से आयोजित इस कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री मीनाक्षी लेखी भी मौजूद रहीं. इस मौके पर इटली के राजदूत ने कहा कि उन्हें भारत छोड़ते हुए दुख हो रहा है, लेकिन इस बात की खुशी है कि उन्होंने यहां बहुत अच्छा समय गुजारा.   

राजदूत की उपलब्धियां गिनाई
कार्यक्रम की शुरुआत करते हुए टाइटस एंड कंपनी एडवोकेट्स के फाउंडर दिलजीत टाइटस ने भारत और नेपाल के लिए इटली के राजदूत विन्सेन्ज़ो डी लुका के कामकाज की तारीफ की. उन्होंने कहा कि लुका और उनकी टीम ने भारत-इटली द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा दिया. उन्होंने रक्षा, साइबर सुरक्षा, अंतरिक्ष और उन्नत प्रौद्योगिकियों पर केंद्रित रणनीतिक साझेदारी को बढ़ाने के लिए किए गए अथक प्रयास किये. साथ ही 'मेक इन इंडिया' अभियान में भी योगदान दिया. वहीं, IICCI के अध्यक्ष एलेसेंड्रो गिउलिआनी ने इटली राजदूत की कई उपलब्धियों की याद दिलाते हुए बताया कि कैसे उनके प्रयासों ने भारत और इटली के बीच राजनयिक संबंधों को नए शिखर पर पहुंचाया और कैसे उन्होंने आर्थिक विकास को बढ़ावा देने से लेकर सांस्कृतिक और सामाजिक आदान-प्रदान तक सभी क्षेत्रों में कई पहलों में हमेशा मुस्कुराते हुए उत्साहपूर्वक भाग लिया.

हमेशा रहेंगे भारत के मित्र
इस मौके पर विदेश और संस्कृति राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने राजदूत के रूप में विन्सेन्ज़ो डी लुका के कामकाज की सराहना की. उन्होंने कहा कि लुका ने एक सच्चे दोस्त की तरह भारत और इटली को करीब लाने का प्रयास किया. वह भले ही इटली के राजदूत के तौर पर विदाई ले रहे हैं, लेकिन भारत के सच्चे मित्र के रूप में हमेशा काम करते रहेंगे. वहीं, भारत से विदाई को लेकर इटली के राजदूत विन्सेन्ज़ो डी लुका भावुक नजर आए. उन्होंने कहा कि भारत से जाना मेरे लिए कठिन है, लेकिन इतना संतोष है कि हमने दोनों देशों के रिश्तों को मजबूत करने की दिशा में बेहतरीन काम किया. मैं यहां से बहुत सी यादें लेकर जा रहा हूं. इस कार्यक्रम में इटली में भारत की राजदूत नीना मल्होत्रा ​​और G20 शेरपा अमिताभ कांत भी मौजूद थे.


Jio ने लॉन्च किया ऐसा ऐप, जिसेस बढ़ेगी GPay, PhonePe की टेंशन! जानिए क्या है खासियत?

जियो फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड ने अपने जियो फाइनेंस ऐप को बीटा मोड में पेश किया है. इसका लक्ष्य यूजर फ्रैंडली इंटरफेस के जरिए डेली मनी मैनेजमेंट और डिजिटल बैंकिंग को बदलना है.

Last Modified:
Friday, 31 May, 2024
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एशिया के सबसे अमीर उद्योगपति और रिलायंस इंडस्ट्रीज (Reliance Industries) के मालिक मुकेश अंबानी की कंपनी अब डिजिटल पेमेंट के मैदान में भी उतर आई है. मुकेश अंबानी की कंपनी जियो फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड (Jio Financial Services Ltd.) ने JioFinance App को लॉन्च किया है. कंपनी ने ऐप का BETA वर्जन पेश किया है. इस ऐप के लॉन्च होने से कई कंपनियों की टेंशन बढ़ गई होगी. डिजिटल बैंकिंग सर्विस में Paytm, PhonePe, Amazon Pay, Google Pay जैसे ऐप की चिंता बढ़ गई है.

ऐप का बीटा वर्जन किया लॉन्च

जियो फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड ने अपने जियोफाइनेंस ऐप का बीटा वर्जन लॉन्च कर दिया है. इस ऐप के जरिए यूजर्स को UPI पेमेंट, डिजिटल बैंकिंग, बिल पेमेंट सर्विस, म्यूचुअल फंड पर लोन की सुविधा, डिजिटल बैंकिंग, इंश्‍योरेंस एडवाइजरी जैसे तमाम फीचर्स मौजूद होंगे. यूजर्स आसानी से इस ऐप के जरिए तमाम डिजिटल पेमेंट सर्विसेस का इस्तेमाल कर सकेंगे.  

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ऐप पर मिलेंगी ये सर्विसेस 

जियो फाइनेंस ऐप पर कार इंश्योरेंस, बाइक इंश्योरेंस, हेल्थ इंश्योरेंस और लाइफ इंश्यरोंस की सर्विस ले सकेंगे. कंपनी ने इसके लिए अलग-अलग बैंकों और बीमा कंपनियों के साथ टाइअप किया है. इस ऐप पर आप सेविंग अकाउंट ओपन कर सकेंगे. वहीं रिलायंस स्मार्ट पॉइंट पर आपको कैश निकालने की सुविधा मिलेगी. जियो फाइनेंस ऐप पर आपको यूपीआई पेमेंट की सुविधा मिलेगी. इतना ही नहीं आप इस ऐप से म्यूचुअल फंड पर लोन ले सकेंगे. कुछ ही मिनटों में आपको यहां लोन मिल जाएगा.  

Google, PhonePe की बढ़ने वाली है टेंशन 

मुकेश अंबानी अपनी बिजनेस स्ट्रैटजी से मार्केट में तहलका मचाने के एक्सपर्ट है. जब रिलायंस ने जियो लॉन्च किया था, उन्होंने अपने फ्री और अनलिमिटेड ऑफर के दम पर टेलिकॉम सेक्टर में खलबली मचा दी. अब जब जियो फाइनेंस डिजिटल बैंकिंग के सेक्टर में उतर रही है, माना जा रहा है कि यहां भी मुकेश अंबानी क्रांति लाएंगे. कंपनी आने वाले दिनों में अपने सर्विसेस का विस्तार होम लोन तक करेगी. Google, PhonePe और Amazon पहले से ही भारत में पेमेंट लिए मोबाइल ऐप चला रहे हैं. लेकिन उन पर लोन, बीमा और निवेश जैसी सुविधाएं उपलब्ध नहीं है. ऐसे में जियो फाइनेंस ऐप कड़ी टक्कर दे सकता है.
 


कल होगा BW Security World के Inaugural Edition का लॉन्च

इंडिया इंटरनेशनल सेंटर (India International Centre) में 1 जून, 2024 को बीडब्ल्यू सिक्योरिटी वर्ल्ड (BW Security World) के Inaugural Edition को लॉन्च किया जाएगा. 

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Friday, 31 May, 2024
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नई दिल्ली लोधी रोड स्थित इंडिया इंटरनेशनल सेंटर (India International Centre) में शनिवार यानी 1 जून, 2024 को बीडब्ल्यू बिजनेस वर्ल्ड (BW BusinessWorld) द्वारा बीडब्ल्यू सिक्योरिटी वर्ल्ड (BW Security World) के Inaugural Edition को लॉन्च किया जाएगा. इस इवेंट में सिक्योरिटी जगत की कई दिग्गज कंपनियां और एक्सपर्ट्स शामिल होंगे. इस दौरान सिक्योरिटी पर एक कॉन्फ्रेंस का आयोजन भी होगा, जिसमें एक्सपर्ट्स कई गंभीर मुद्दों पर चर्चा करेंगे.  

रीडर्स के लिए टॉप टायर कंटेट 
बीडब्ल्यू बिजनेस वर्ल्ड (BW BusinessWorld) के अंतर्गत बीडब्ल्यू सिक्योरिटी वर्ल्ड (BW Security World) की पूरी टीम बीडब्ल्यू बिजनेसवर्ल्ड के चेयरमैन और एडिटर-इन-चीफ और एक्सचेंज4मीडिया के फाउंडर डॉ. अनुराग बत्रा के साथ उनके एक दूरदर्शी प्रोजेक्ट बीडब्ल्यू सिक्योरिटी वर्ल्ड मैगजीन को लॉन्च करने के लिए रोमांचित है. यह मैगजीनअपने रीडर्स के लिए टॉप टायर कंटेट लेकर आई है, जो सिक्योरिटी इंडस्ट्री के दूरगामी प्रभाव को दर्शाती है.  

प्राइवेट सिक्योरिटी से लेकर टेक्नोलॉजी जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों पर होगी चर्चा
बीडब्ल्यू बिजनेसवर्ल्ड फैमिली की डायनेमिक कम्यूनिटी और भारत की लीडिंग मैगजीन बीडब्ल्यू सिक्योरिटी वर्ल्ड मैगजीन में प्राइवेट सिक्योरिटी, डिजिटल सिक्योरिटी, साइबर सिक्योरिटी, एडवांस टेक्नोलॉजी जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों पर प्रकाश डालने के लिए इस मैगेजीन लॉन्च करने जा रही है. 

लेटेस्ट ट्रेंड्स और इंडस्ट्री की बेस्ट प्रैक्टिसिस से जुड़ने का सुनहरा मौका
ग्रुप के चेयरमैन डॉय अनुराग बत्रा ने कहा हमारा मिशन सिक्योरिटी इंडस्ट्री में हो रहे इनोवेशन को सेलिब्रेट करना, गंभीर चुनौतियों से निपटना और इन परिवर्तनकारी समय में समाधानों को उजागर करना है. उन्होंने कहा कि बीडब्ल्यू सिक्योरिटी वर्ल्ड इनॉगरल एडिशन लॉन्च की इस ऐतिहासिक उपलब्धि का जश्न मनाने के लिए हम काफी उत्साहित हैं. इस विशेष कॉन्फ्रेंस में सिक्योरिटी इंडस्ट्री के कई बड़े नाम ज्ञानवर्धक पैनल चर्चा में शामिल होंगे, जिसका समापन मैगजीन के लॉन्च के साथ होगा. लेटेस्ट ट्रेंड्स, अत्याधुनिक समाधानों और इंडस्ट्री की बेस्ट प्रैक्टिसिस से जुड़ने का यह एक सुनहरा अवसर है. 

 

इवेंट की डिटेल
इवेंट-बीडब्ल्यू सिक्योरिटी वर्ल्ड इनॉगरल एडिशन लॉन्च

स्थान: इंडिया इंटरनेशनल सेंटर, लोधी रोड, नई दिल्ली

समय : दोपहर 3:30 बजे कॉन्फ्रेंस और शाम 7:30 बजे लॉन्च

कॉकटेल और डिनर: शाम 7:30 बजे से

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इवेंट से जुड़ने के लिए यहां करें रजिस्ट्रेशन
इस इवेंट से जुड़ने के लिए आपको पहले रजिस्ट्रेशन करना होगा. इसके लिए आप इस लिंक पर क्लिक करें और रजिस्टर करें. https://bwevents.co.in/bwsecurityworld/inaugural-edition-launch/

इस इवेंट में शामिल होने वाले सम्मानित वक्ता
1.    डॉ. अनुराग बत्रा, चेयरमैन और चीफ एडिटर बीडब्ल्यू बिजनेसवर्ल्ड और फाउंडर एक्सचेंज4मीडिया
2. हर्ष वर्धन, सीईओ, बीडब्ल्यू सिक्योरिटी वर्ल्ड
3. कुंवर विक्रम सिंह, चेयरमैन, सीएपीएसआई
4. ब्रिगेडियर रंजन ओबेरॉय, ग्लोबल वाइस चेयरमैन, टेनॉन ग्रुप
5. राजीव शर्मा, कंट्री मैनेजिंग डायरेक्टर, जी4एस कॉरपोरेट सर्विस (भारत)
6. गुरपवन सिंह, अध्यक्ष, आईआईआरआईएस कंसल्टिंग
7. मेजर जनरल (डीआर) पवन आनंद, एवीएसएम (आरईटीडी), निदेशक एमआईजीएस ग्लोबल कंसल्टिंग, भारत के प्रतिष्ठित फेलो यूएसआई

8. मेजर जनरल संजय सोई (सेवानिवृत्त), सलाहकार इंटरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इन्फ्लुएंसर्स, अध्यक्ष सलाहकार बोर्ड EXSTEMPLAR, सलाहकार फोरम फॉर ग्लोबल स्टडीज
9. एडवोकेट अनुज अग्रवाल, अध्यक्ष, सेंटर फॉर रिसर्च ऑन साइबर क्राइम एंड साइबर लॉ
10. वीना गुप्ता, संस्थापक-एमडी, सीम रिस्क सॉल्यूशंस इंडिया
11. ज्योत्सना भल्ला, अध्यक्ष, प्रमुख बीडी और सीआरएम, एपी सिक्यूरिटास
12. कर्नल इंद्रजीत बरारा, सीओओ, वारा टेक्नोलॉजी
कैप्टन एलरॉय ए कोलाको, स्वतंत्र सलाहकार
13. हरविंद्र सिंह, चैप्टर चेयरमैन, एएसआईएस इंटरनेशनल, नई दिल्ली चैप्टर
14. गरिमा गोस्वामी, सह-संस्थापक और सीईओ ड्रिघ सिक्योरिटी इंटरनेशनल
15. मेजर सौरभ श्रीवास्तव, डायरेक्टर, साउथ एशिया क्राइसिस एंड सिक्योरिटी कंसल्टिंग, कंट्रोल रिस्क इंडिया

अधिक जानकारी के लिए यहां करें संपर्क

इस कॉन्फ्रेंस में सिक्योरिटी एक्सपर्ट्स के लिए एक मेला होगा, जहां मौजूद लोगों के लिए एक्सपर्ट्स से मिलकर सिक्योरिटी इंडस्ट्री में नवीनतम रुझानों और चुनौतियों पर चर्चा करने का एक विशेष अवसर होगा. इस इवेंट की शाम का समापन सिक्योरिटी इंडस्ट्री के लीडिंग जी4एस द्वारा स्पॉन्सर्ड कॉकटेल और डिनर के साथ होगा. इस इवेंट से जुड़ी अधिक जानकारी के लिए आप इस नंबर और ई-मेल आईडी पर भी संपर्क कर सकते हैं: 
शैलेश पाल-91 8279478154, shailesh@businessworld.in


महंगाई के नाम पर खूब महंगा हुआ था कर्ज, क्या इस बार मिलेगी राहत? जल्द चलेगा पता

लोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद भारतीय रिजर्व बैंक की MPC की बैठक में नीतिगत ब्याज दरों पर फैसला होगा.

Last Modified:
Friday, 31 May, 2024
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महंगाई को नियंत्रित करने के नाम पर भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने कुछ वक्त पहले नीतिगत ब्याज दरों में लगातार इजाफा किया था. RBI के इस कदम के चलते कर्ज लगातार महंगा होता गया और लोगों की EMI बढ़ती चली गई. पिछली कुछ बार से रिजर्व बैंक ने रेपो रेट को यथावत रखा हुआ है, यानी उसमें किसी भी तरह का बदलाव नहीं हुआ है. ऐसे में अब यह सवाल अहम हो जाता है कि क्या 5-7 जून को अपनी मौद्रिक नीति समिति (MPC) की बैठक में RBI इस मोर्चे पर कुछ राहत देगा? 

इस बार कटौती की गुंजाइश नहीं
रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की बैठक 5 जून को शुरू होकर 7 जून तक चलेगी. इसी दिन बैठक में लिए गए निर्णयों की भी घोषणा की जाएगी. यानी 7 जून को यह साफ हो जाएगा की रेपो रेट में कोई कमी होती है या नहीं. इस संबंध में किए गए एक सर्वेक्षण में शामिल ज़्यादातर अर्थशास्त्रियों का मानना है कि RBI रेपो रेट को 6.50% पर बनाए रख सकता है. 17-30 मई तक चले इस सर्वे में 72 अर्थशास्त्रियों में से एक को छोड़कर सभी ने अनुमान जताया है कि रेपो रेट में किसी भी तरह का बदलाव नहीं होगा. 

चौथी तिमाही में बन सकती है संभावना
सर्वेक्षण में शामिल 71 में से 33 अर्थशास्त्रियों ने भविष्यवाणी की है कि RBI 2024 की चौथी तिमाही में पहली रेपो रेट में कटौती का विकल्प चुनेगा और इसे इसे घटाकर 6.25% किया जा सकता है. जबकि अप्रैल की शुरुआत में, अधिकांश अर्थशास्त्रियों को उम्मीद थी कि नीतिगत ब्याज दरों में पहली कटौती तीसरी तिमाही में होगी. 33 इकोनॉमिस्ट का कहना है कि रेप रेट 25 बेसिस पॉइंट (BPs) कम होकर 6.25% हो जाएंगी. जबकि 15 ने इसके 6.00% और पांच ने 5.75% या उससे कम होने का अनुमान लगाया है. वहीं, शेष अर्थशास्त्रियों का मानना है कि इस साल दरों में कोई बदलाव नहीं होगा.

क्या है RBI की जिम्मेदारी?
सर्वेक्षण के अनुसार, अप्रैल में मुद्रास्फीति 4.83% थी और अगली तिमाही में इसके 4.00% तक गिरने की उम्मीद है. लेकिन उसके बाद की तिमाहियों में इसमें वृद्धि हो सकती है. इस वित्तीय वर्ष और अगले वित्तीय वर्ष में यह औसतन 4.5% रहेगी. रेपो रेट की बात करें तो यह वो दर होती है, जिस पर RBI बैंकों को लोन देता है. लिहाजा, जब इसमें इजाफा होता है, तो बैंक अपना कर्ज महंगा करके ग्राहकों से उसकी वसूली कर लेते हैं. वहीं, रिवर्स रेपो रेट वो दर होती है, जिस पर RBI बैंकों को रुपए रखने के लिए ब्याज देता है. गौरतलब है कि आरबीआई को केंद्र की तरफ से खुदरा महंगाई दो प्रतिशत घट-बढ़ के साथ चार प्रतिशत पर बनाए रखने की जिम्मेदारी मिली हुई है.


100 प्रभावशाली कंपनियों की लिस्ट में भारत की ये तीन कंपनियां शामिल, Reliance को दूसरी बार मिली जगह

रिलायंस इंडस्ट्रीज और टाटा ग्रुप के अलावा वैक्सीन का निर्माण करने वाली हैदराबाद स्थित सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया को दुनिया की 100 प्रभावशाली कंपनियों में शामिल किया गया है.

Last Modified:
Friday, 31 May, 2024
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दुनिया की फेमस मैगजीन टाइम (Time Magazine) ने साल 2024 के लिए दुनिया की 100 सबसे प्रभावशाली कंपनियों की लिस्ट जारी कर दी है. इसमें लिस्ट में भारत की 3 कंपनियां शामिल हैं, जिसमें रिलायंस इंडस्ट्रीज ()Reliance Industries) और टाटा ग्रुप (Tata Group) का नाम भी शामिल है. इससे पहले 2021 में रिलायंस ग्रुप की कंपनी जियो प्लेटफॉर्म्स (Jio) ने पहली बार टाइम 100 सबसे प्रभावशाली कंपनियों की लिस्ट में जगह बनाई थी. रिलायंस इंडस्ट्रीज इस लिस्ट में दो बार शामिल होने वाली भारत की एकमात्र कंपनी है.

रिलायंस ने 2 बार बनाई जगह

टाइम ने रिलांयस इंडस्ट्रीज की तारीफ करते हुए कहा कि रिलायंस 'भारत का महानायक' है. मैगजीन ने कंपनी के शुरुआती दिनों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि 58 साल पहले धीरूभाई अंबानी ने एक कपड़ा और पॉलिएस्टर बिजनेस के रूप में रिलायंस की नींव रखी थी और आज यह 200 बिलियन अमरीकी डॉलर से अधिक के मार्केट कैपिटल के साथ भारत की सबसे वैल्यूएबल कंपनी है. टाइम ने कहा है कि इस ग्रुप ने भारतीय प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के 'आत्मनिर्भर' भारत के साथ जुड़ते हुए अपना विकास किया है.

टाटा और सीरम का भी नाम शामिल

रिलायंस इंडस्ट्रीज और टाटा ग्रुप के अलावा वैक्सीन का निर्माण करने वाली हैदराबाद स्थित सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (Serum Institute Of India)  को भी दुनिया की 100 प्रभावशाली कंपनियों में शामिल किया गया है. टाइम ने सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया 'पायनियर्स' कैटेगरी में रखा है. इसके अलावा टाइम ने टाटा ग्रुप और मुकेश अंबानी के नेतृत्व वाली कंपनी रिलायंस को टाइटन कैटेगरी में लिस्ट किया है.

टाटा ने किया शानदार प्रदर्शन

टाइम ने कहा कि साल 2023 में टाटा ग्रुप iPhones को असेंबल करने वाली पहली भारतीय कंपनी बन गई और एक और प्लांट बना रही है. सितंबर में टाटा ने भारत में AI क्लाउड डेवलअप करने के लिए Nvidia के साथ साझेदारी का ऐलान किया. इसके अलावा इस साल इसने देश की पहली प्रमुख सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग सुविधा का ऐलान किया.

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मोदी की जीत से जुड़ा है इन सेक्टर्स का भविष्य, आप भी बन सकते हैं मालामाल

लोकसभा चुनाव के अंतिम चरण का मतदान एक जून यानी कल होगा और चुनाव के नतीजे 4 जून को सामने आएंगे.

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Friday, 31 May, 2024
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लोकसभा चुनाव के नतीजे (Election Results) 4 जून को आने वाले हैं. इससे पहले शेयर बाजार (Stock Market) एक और बड़ा गोता लगा सकता है. दरअसल, निवेशकों का पूरा फोकस इस समय मुनाफावसूली पर है. वह नए निवेश का जोखिम नहीं लेना चाहते. तमाम एक्सपर्ट्स का मानना है कि यदि मोदी सरकार की वापसी होती है, तो विदेशी और घरेलू दोनों निवेशक खुलकर दांव लगाएंगे. ऐसे में मार्केट रॉकेट की रफ़्तार से भाग सकता है. खासतौर पर मोदी सरकार ने अपने अब तक के कार्यकाल में जिन सेक्टर्स पर विशेष ध्यान दिया है, उनसे जुड़े शेयरों में भी उछाल आना तय है. 

बेहतर प्रदर्शन की आस 
भाजपा के चुनावी घोषणा पत्र पर नजर डालने पर समझ आता है कि सत्ता में वापसी पर मोदी सरकार मेक इन इंडिया, परफॉर्मेंस लिंक्ड इंसेंटिव स्कीम और सस्टेनेबल सिटीज के मुद्दे पर बड़ा काम करेगी. रेलवे, ग्रीन हाइड्रोजन, सोलर न्यूक्लियर, विंड एनर्जी, एविएशन, डिफेंस और सेमीकंडक्टर जैसे सेक्टर पर भी मोदी सरकार का जोर रहेगा. इसका मतलब है कि इन से जुड़ी कंपनियां स्टॉक मार्केट में बेहतर परफॉर्म कर सकती हैं. मार्केट एक्सपर्ट का कहना है कि ऊर्जा क्षेत्र में आप खासतौर पर सोलर और विंड एनर्जी कंपनियों के शेयरों पर दांव लगा सकते हैं. इसके साथ ही पीएसयू कंपनियों के शेयर भी अपने पोर्टफोलियो में शामिल कर सकते हैं.

इंफ्रा-कैपेक्स रहेगा जोर
मोदी सरकार ने अब तक इंफ्रास्ट्रक्चर पर काफी ध्यान दिया है. यदि सरकार तीसरी बार सत्ता में आती है, तो इंफ्रा और कैपेक्स पर उसका खर्च जारी रहने की उम्मीद है. सरकार बुलेट ट्रेन, ज्यादा से ज्यादा शहरों को जोड़ने के लिए हाईवे और वाटरवेज प्रोजेक्ट को लेकर कुछ घोषणाएं कर सकती है. इसका मतलब है कि इंफ्रास्ट्रक्चर कारोबार की दिग्गज कंपनियों के शेयरों पर दांव खेला जा सकता है. टूरिज्म भी मोदी सरकार की प्राथमिकता में रहा है. अनुमान है कि अगले पांच साल में भारत के हॉस्पिटैलिटी सेक्टर से जुड़ी कंपनियां मुनाफे में शानदार वृद्धि दर्ज कर सकती हैं. ऐसे में हॉस्पिटैलिटी सेक्टर की दिग्गज कंपनियों के शेयर भी अच्छी कमाई करा सकते हैं.

यहां भी लगा सकते हैं दांव
कुछ एक्सपर्ट्स का कहना है कि देश का रियल एस्टेट सेक्टर अब ट्रैक पर लौट आया है. कोरोना संकट के बाद सरकारी नीतियों की वजह से इसमें अच्छी बढ़त दिखाई दे रही है और आने वाले दिनों में भी इसके बने रहने की उम्मीद है. इलेक्ट्रॉनिक सिस्टम डिजाइन एंड मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर भी मोदी सरकार के फोकस में है. इस कारोबार के 34% की सालाना दर से बढ़ने की उम्मीद है. अगले 5 साल में यह मौजूदा 25 अरब डॉलर से बढ़कर 110 अरब डॉलर पर पहुंच सकता है. इसका मतलब है कि इन सेक्टर्स की प्रमुख कंपनियों के शेयरों में निवेश अच्छा रिटर्न दे सकता है. 


शेयर मार्केट में भी इलेक्ट्रिक व्हीकल से होगी जबरदस्त कमाई, NSE ने लॉन्च किया नया इंडेक्स

NSE ईवी और नए जमाने के ऑटोमोटिव इंडेक्स के लॉन्च से ऐसे प्रोडक्ट्स के निर्माण में मदद मिलेगी, जो एसेट मैनेजर्स के लिए EV और नए जमाने के ऑटोमोटिव बाजार में निवेश करने का अवसर पैदा करेंगे.

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Friday, 31 May, 2024
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नेशनल स्टॉक एक्सचेंज की सहायक कंपनी NSE इंडेक्स लिमिटेड ने ईवी और नए जमाने के ऑटोमोटिव इंडेक्स को लॉन्च किया है. इसके जरिए EV इकोसिस्टम का हिस्सा बनने वाली कंपनियों के प्रदर्शन को ट्रैक करना है. यह देश का पहला इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) इंडेक्स होगा. NSE इंडेक्स ने एक बयान में कहा कि निफ्टी ईवी और नए जमाने के ऑटोमोटिव इंडेक्स के लॉन्च से ऐसे प्रोडक्ट्स के निर्माण में मदद मिलेगी, जो एसेट मैनेजर्स के लिए इलेक्ट्रिक व्हीकल और नए जमाने के ऑटोमोटिव बाजार में निवेश करने का अवसर पैदा करेंगे, जिससे निवेशकों को निवेश का एक साधन मिलेगा.

देश का पहला EV इंडेक्स

NSE EV, देश का पहला ऐसा शेयर इंडेक्स होगा जो इलेक्ट्रिक व्हीकल सेक्टर की हर तरह की कंपनी के शेयर की परफॉर्मेंस पर नजर रखेगा. इसमें ना सिर्फ इलेक्ट्रिक व्हीकल बनाने वाली कंपनियां, बल्कि EV से जुड़ी टेक्नोलॉजी बनाने वाली कंपनियों के शेयर्स को भी शामिल किया जाएगा. भारत में टाटा ग्रुप की टाटा मोटर्स और टाटा एलेक्सी जैसी कंपनियां इस सेगमेंट में काम करती हैं. वहीं महिंद्रा ग्रुप भी EV सेक्टर में बड़े पैमाने पर निवेश कर रहा है. सरकार हमेशा EV अपनाने से संबंधित नीतियों को तैयार करने में सबसे आगे रही है, ताकि नवीनतम तकनीक वाले EV का निर्माण देश में किया जा सके और वैश्विक EV निर्माताओं की ओर से निवेश आकर्षित किया जा सके. 

24 घंटे में ही Bezos के सिर से छिन गए नंबर 1 रईस का ताज, अब कौन है सबसे अमीर?

पैसा कमाने में ऐसे मिलेगी मदद

इस इंडेक्स की मदद से म्यूचुअल फंड कंपनियों और एसेट मैनेजर्स को एक बेंचमार्क हासिल होगा. वह इसे एक रिफ्रेंस इंडेक्स की तरह इस्तेमाल कर सकेंगे. इस इंडेक्स के आधार पर वह इंडेक्स फंड या ईटीएफ जैसे प्रोडक्ट लॉन्च कर सकेंगे, जिसमें लोग पैसे लगाकर इस फ्यूचर इंडस्ट्री के हिसाब से पैसे कमा सकेंगे. NSE ने इस इंडेक्स के लिए बेस डेट 2 अप्रैल 2018 और बेस वैल्यू 1000 पॉइंट रखी है. इस इंडेक्स में शामिल कंपनियों को साल में दो बार स्ट्रक्चर किया जाएगा, यानी उन्हें इसमें शामिल करने या हटाने का फैसला साल में दो बार किया जाएगा. वहीं हर तिमाही में इसे रीबैलेंस किया जाएगा.

NSE में पहले से ही 17 इंडेक्स

वर्तमान में NSE पर 17 इंडेक्स हैं. निफ्टी कमोडिटीज, निफ्टी इंडिया कंजम्पशन, निफ्टी सीपीएसई, निफ्टी एनर्जी और निफ्टी इंफ्रास्ट्रक्चर विषयगत सूचकांकों के अलावा, एनएसई ब्रॉड मार्केट इंडेक्स (जैसे निफ्टी, निफ्टी नेक्स्ट 50, निफ्टी 100, निफ्टी 100 आदि) और निफ्टी बैंक, निफ्टी सहित 15 सेक्टर इंडेक्स संचालित करता है. आईटी और निफ्टी ऑटो यह रणनीति इंडेक्स और निश्चित आय इंडेक्स भी संचालित करते हैं. 
 


अडानी की जिस कंपनी पर निवेशक लगा रहे जमकर दांव, उसका गौतम के पास महज 1 शेयर

अडानी एंटरप्राइजेज की वित्‍त वर्ष 2023-24 की वार्षिक रिपोर्ट में कई जानकारी सामने आई हैं.

Last Modified:
Friday, 31 May, 2024
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गौतम अडानी (Gautam Adani) अलग-अलग सेक्टर्स में धमाल मचा रहे अडानी समूह के मालिक हैं. ऐसे में यह मानना लाजमी है कि उनके पास अपनी कंपनियों के सबसे ज्यादा शेयर होंगे. सबसे ज्यादा नहीं, तो इतने शेयर तो होंगे ही कि एक अच्छा फिगर बन सके. लेकिन आपको जानकर ताज्जुब होगा कि अडानी के पास अपने समूह की फ्लैगशिप कंपनी अडानी एंटरप्राइजेज का केवल एक शेयर है. दरअसल, कंपनी ने वित्‍त वर्ष 2023-24 के लिए अपनी वार्षिक रिपोर्ट जारी की. इसमें एग्‍जीक्‍यूटिव की सैलरी और शेयरहोल्डिंग जैसी जानकारी दी गई है. इसी से यह पता चला है कि गौतम अडानी के पास अडानी एंटरप्राइजेज के कितने शेयर हैं.

ट्रस्ट के पास है बाकी शेयर
वार्षिक रिपोर्ट में बताया गया है कि अडानी समूह के अरबपति फाउंडर गौतम अडानी के पास अडानी एंटरप्राइजेज का केवल 1 शेयर है. 31 मार्च 2024 तक के शेयरहोल्डिंग पैटर्न के अनुसार, गौतम अडानी और उनके भाई राजेश अडानी दोनों के पास कंपनी के सिर्फ 1-1 शेयर हैं. हालांकि, इसका मतलब ये नहीं है कि अडानी के पास इस कंपनी की बागडोर नहीं है. दरअसल, बाकी शेयर SB अडानी फैमिली ट्रस्ट के पास हैं. अडानी परिवार के पास सामूहिक रूप से कंपनी के 57,33,33,492 इक्विटी शेयर हैं. इस तरह इस ट्रस्ट के पास कंपनी में 50.29% की हिस्सेदारी है.

किसमें, कितनी हिस्सेदारी? 
इसके अलावा, अडानी फैमिली ट्रस्ट के पास Adani Energy Solutions में 53.93%, Adani Green Energy में 20.76%, Adani Ports में 32.90%, Adani Power में 36.86% और Adani Total Gas में 37.38% हिस्सेदारी है. रिपोर्ट में वित्त वर्ष 2023-24 के लिए गौतम अडानी की कुल सैलरी का की भी जानकारी दी गई है. वित्त वर्ष 2023-24 के लिए उनका कुल वेतन 2.46 करोड़ रुपए था. इसमें 2.19 करोड़ मूल सैलरी और 0.27 करोड़ के भत्ते एवं अन्य लाभ शामिल थे. जबकि उनके भाई राजेश अडानी ने वित्त वर्ष में कुल 8.37 करोड़ रुपए कमाए.

कल आई थी गिरावट
वहीं, अडानी एंटरप्राइजेज के शेयर की बात करें, तो कल यह 1.50% की गिरावट के साथ बंद हुआ. कंपनी का शेयर 48.90 रुपए टूटकर 3,209.90 रुपए पर आ गया. बीते 5 कारोबारी सत्रों में इसमें 5.82% की गिरावट आई है. हालांकि, इस साल अब तक इसने 10.03% का रिटर्न भी दिया है. इस शेयर का 52 वीक का हाई लेवल 3,457.85 रुपए है. बता दें कि हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के चलते अडानी एंटरप्राइजेज के शेयरों में बड़ी गिरावट आई थी, लेकिन अब वो उसके प्रभाव से पूरी तरह बाहर निकल आया है.


24 घंटे में ही Bezos के सिर से छिन गए नंबर 1 रईस का ताज, अब कौन है सबसे अमीर? 

दुनिया के अमीरों की लिस्ट में बीते 24 घंटों में उथल-पुथल देखने को मिली है. बेजोस अब पहले नंबर पर नहीं हैं.

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Friday, 31 May, 2024
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दुनिया के अरबपतियों के लिए पिछले 24 घंटे खट्टे-मीठे रहे. किसी की दौलत का पहाड़ इस दौरान दरका, तो किसी ने उसे और ऊंचा बना दिया. जाहिर है ऐसे में अरबपतियों की लिस्ट में भी बदलाव हुआ होगा. चलिए आपको बताते हैं कि 'कौन है दुनिया का सबसे अमीर शख्स'?, इस सवाल का जवाब क्या है. कल तक Amazon के फाउंडर जेफ बेजोस दुनिया के अमीरों की लिस्ट में पहले स्थान पर थे, लेकिन अब वो अपनी कुर्सी गंवा चुके हैं. 30 मई को ही बेजोस ने यह रुतबा हासिल किया था और चंद घंटों में ही उनके सिर से ताज उतर गया. 

अर्नाल्ट ने एक झटके में कमाए इतने 
जेफ बेजोस नंबर वन से लुढ़ककर सीधे तीसरी पोजीशन पर आ गए हैं. ब्लूमबर्ग बिलेनियर इंडेक्स के मुताबिक, बर्नार्ड अर्नाल्ट फिर से रईस नंबर 1 बन गए हैं. दरअसल फ़्रांसिसी कारोबारी बर्नार्ड अर्नाल्ट की कंपनी के शेयरों में आई तेजी की वजह से उनकी संपत्ति एक ही दिन में 3.16 अरब डॉलर बढ़ गई. जबकि, अमेजन के शेयरों में आई गिरावट से उसके फाउंडर बेजोस की दौलत का पहाड़ कुछ दरक गया. गुरुवार को उन्होंने 2.66 अरब डॉलर का नुकसान उठाया और वह लिस्ट में तीसरे नंबर पर पहुंच गए. बर्नार्ड अर्नाल्ट ने इस साल अब तक 1.21 अरब डॉलर गंवाए हैं जबकि बेजोस ने अपनी दौलत में 25.2 अरब डॉलर जोड़े हैं.

मस्क को मिल सकता है ये मुकाम
टेस्ला के मालिक एलन मस्क नंबर 1 की कुर्सी की तरफ तेजी से बढ़ रहे हैं. मस्क बर्नार्ड अर्नाल्ट से केवल 2 अरब डॉलर पीछे हैं. टेस्ला के शेयरों में उछाल के कारण मस्क की संपत्ति में गुरुवार को 1.86 अरब डॉलर का इजाफा हुआ. उनके पास कुल 204 अरब डॉलर की दौलत है. इस लिस्ट में दूसरा सबसे बड़ा बदलाव NVIDIA के प्रेसिडेंट जेनसेन हुआंग को लेकर हुआ है. हुआंग 100 अरब डॉलर क्लब से बाहर होकर 16वें स्थान पर पहुंच गए हैं. हुआंग की संपत्ति में गुरुवार को 3.75 अरब डॉलर की कमी आई. उनकी नेटवर्थ 97.1 अरब डॉलर रह गई है. हुआंग की एक दिन पहले ही 100 अरब डॉलर क्लब में एंट्री हुई थी.

अंबानी-अडानी को भी नुकसान
वहीं, रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन मुकेश अंबानी को भी गुरुवार को नुकसान उठाना पड़ा. उनकी दौलत के पहाड़ से 1.10 अरब डॉलर कम हो गए. इस साल अब तक उन्होंने 12.7 अरब डॉलर की कमाई भी की है. अडानी समूह के चेयरमैन के लिए भी कल का दिन अच्छा नहीं रहा. इस दौरान, उनकी दौलत 409 मिलियन डॉलर गिरकर 106 अरब डॉलर रह गई. वैसे इस साल अब तक उन्होंने 21.3 अरब डॉलर की कमाई भी की है. अडानी और अंबानी की दौलत में अब 3 अरब डॉलर का फासला बचा है. यदि अडानी इस दूरी को पाट लेते हैं, तो फिर से एशिया के सबसे रईस का रुतबा हासिल कर लेंगे.


आज इन शेयरों पर खेल जाएं दांव, जेब भरी होगी तो खुशी-खुशी बीतेगा वीकेंड!

शेयर बाजार के लिए आज सप्ताह का आखिरी कारोबारी दिन है और आज कुछ शेयरों में तेजी के संकेत मिले हैं.

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Friday, 31 May, 2024
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शेयर बाजार (Stock Market) गुरुवार को भी लाल निशान पर बंद हुआ. यह लगातार पांचवां कारोबारी सत्र था जब बाजार में गिरावट देखने को मिली. लोकसभा चुनाव के नतीजों से पहले मुनाफावसूली के चलते बाजार में नरमी आई. इस दौरान, बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) का 30 शेयरों पर आधारित सूचकांक सेंसेक्स 617.30 अंक गिरकर 73,885.60 और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) का निफ्टी 216.05 अंक टूटकर 22,488.65 पर बंद हुआ. बीते 5 सत्रों में सेंसेक्स 1,532 अंक नीचे आया है. जबकि निफ्टी 479 अंक टूटा है. सेंसेक्स में कल आई गिरावट में टाटा समूह की टाटा मोटर्स, टाटा स्टील और टाइटन के साथ-साथ टेक महिंद्रा, विप्रो, बजाज फिनसर्व, बजाज फाइनेंस, नेस्ले इंडिया जैसी दिग्गज कंपनियों के शेयर भी नुकसान भी रहे. चलिए जानते हैं कि आज कौनसे शेयर ट्रेंड में रह सकते हैं.

MACD के ये हैं संकेत
मोमेंटम इंडिकेटर मूविंग एवरेज कन्वर्जेंस डिवर्जेंस (MACD) ने आज DOMS Industries, Exide Industries, Zydus Wellness,  Torrent Pharma और Vijaya Diagnostic Centre पर तेजी का रुख दिखाया है. इसका मतलब है कि इन शेयरों में तेजी आ सकती है. ऐसे में यदि आप इन पर दांव लगाते हैं, तो मुनाफा भी कमा सकते हैं. हालांकि, स्टॉक मार्केट जोखिम के अधीन है और BW हिंदी आपको सलाह देता है कि यहां निवेश से पहले किसी सर्टिफाइड एक्सपर्ट से परामर्श ज़रूर कर लें, अन्यथा आपको नुकसान भी उठाना पड़ सकता है. इसी तरह, MACD ने ABB India, Timken India, Cummins India, Alkem India, Kirloskar Oil Engines और Siemens में मंदी के संकेत दिए हैं.

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इनमें दिखी मजबूत खरीदारी
अब उन शेयरों के बारे में जानते हैं, जिनमें मजबूत खरीदारी देखने को मिल रही है. इस लिस्ट में KNR Constructions, Emami, Samvardhana Motherson International, Saregama India, Coromandel International, GSK Pharma और Jupiter Wagons का नाम शामिल है. KNR Constructions के शेयर कल के गिरावट वाले बाजार में भी शानदार 8.20% की उछाल दर्ज करने में सफल रहे. 302.90 रुपए के भाव पर मिल रहा ये शेयर इस साल अब तक अपने निवेशकों को करीब 18% का रिटर्न दे चुका है. वहीं, कुछ शेयर ऐसे भी हैं, जो बिकवाली के दबाव का सामना कर रहे हैं. इस लिस्ट में Berger Paints, KRBL, Route Mobile, Anupam Rasayan और GRSE और शामिल हैं.

(डिस्क्लेमर: शेयर बाजार में निवेश जोखिम के अधीन है. 'BW हिंदी' इसकी कोई जिम्मेदारी नहीं लेता. सोच-समझकर, अपने विवेक के आधार पर और किसी सर्टिफाइड एक्सपर्ट से सलाह के बाद ही निवेश करें, अन्यथा आपको नुकसान उठाना पड़ सकता है).